🕘 घटना की तिथि: 10 जुलाई 2025
📍 स्थान: बास बादशाहपुर, जिला हिसार, हरियाणा
🎯 कीवर्ड्स: शिक्षक की हत्या, हिसार क्राइम, गुरु पूर्णिमा हत्या, स्कूल मर्डर केस, छात्रों ने की हत्या, करतार मेमोरियल स्कूल, हिसार न्यूज़ 2025
🧓 शिक्षा की चौखट पर दरिंदगी: कहानी की शुरुआत
1 जुलाई 2025 को जब गर्मियों की छुट्टियों के बाद विद्यालय दोबारा खुले, तो हर किसी के चेहरे पर उत्साह था। कक्षा 1 से 12वीं तक के छात्र स्कूल पहुंचे। स्कूल प्रांगण में प्रार्थना हो रही थी और स्कूल के प्रिंसिपल जगबीर सिंह पानू बच्चों को अनुशासन, स्वच्छता और पढ़ाई की अहमियत समझा रहे थे।
इसी दौरान उनकी नजर अपने ही गांव के एक छात्र पर पड़ी। बाल बढ़े हुए थे, कपड़े अस्त-व्यस्त। प्रिंसिपल साहब ने उसे विशेष रूप से समझाया:
“अगर तुम IAS या IPS बनोगे, तो गांव और स्कूल दोनों का नाम रोशन करोगे।”
लेकिन छात्र ने इस बात को हंसी में उड़ा दिया।
🧒 चार छात्रों का विद्रोही स्वभाव: इंट्रोडक्शन ऑफ किलर गैंग
चार छात्र – तीन 11वीं कक्षा से और एक 12वीं से, जो प्रिंसिपल साहब के गांव के ही थे।
इनका व्यवहार लगातार असंयमित था। स्कूल अनुशासन का पालन न करना, सोशल मीडिया पर अवैध हथियारों के साथ तस्वीरें डालना और खुद को “डॉन” कहकर प्रचार करना, इनके रोज़मर्रा का हिस्सा बन चुका था।
जनवरी 2025 में इन छात्रों में से एक ने Instagram पर पिस्तौल और गोली के साथ फोटो डाली थी। उसी वक्त से उनकी निगरानी की जानी चाहिए थी।
🔪 10 जुलाई 2025 – गुरु पूर्णिमा के दिन हुआ कत्ल
गुरु पूर्णिमा का दिन था, जब देशभर में गुरुओं को सम्मान दिया जा रहा था। उसी दिन हिसार के करतार मेमोरियल स्कूल में दिल दहला देने वाली घटना घटी।
सुबह 10 बजे स्कूल में यूनिट टेस्ट शुरू हुए थे। तभी दो छात्र प्रिंसिपल ऑफिस के सामने खड़े होकर बोले:
“ओ प्रिंसिपल, बाहर निकल!”
जैसे ही प्रिंसिपल बाहर आए, एक छात्र ने उन्हें कसकर पकड़ा और दूसरे ने चाकू से एक के बाद एक 3 वार कर दिए। स्कूल प्रांगण उनकी चीखों से गूंज उठा।
🎥 सीसीटीवी और सोशल मीडिया: हत्यारों की बेखौफ हरकतें
घटना के बाद सभी आरोपी भाग गए, लेकिन स्कूल के CCTV कैमरों ने उनकी पहचान कर ली।
लेकिन सबसे हैरान कर देने वाली बात यह थी कि कुछ ही घंटे बाद Instagram पर एक वीडियो अपलोड होती है:
“जगबीर की तो हमने हत्या कर दी, अब तेरे बेटे की बारी है… ₹1 लाख का इंतजाम करना पड़ेगा। हम हैं डॉन।”
यह वीडियो न केवल पुलिस के लिए सबूत बना, बल्कि यह देश भर में वायरल हो गया।
👮 पुलिस की तफ्तीश और छात्रों की गिरफ्तारी
पुलिस ने हिसार की सीआई यूनिट को सक्रिय किया। CCTV फुटेज से पता चला कि सिर्फ दो नहीं, बल्कि चार छात्र भागे थे। जांच के बाद यह भी सामने आया कि उन छात्रों ने गांव के ही एक युवक से बाइक ली थी।
11 जुलाई 2025 को, मुड़ाल बस स्टैंड से चारों को गिरफ्तार किया गया।
सभी नाबालिग थे, इसलिए उन्हें किशोर न्यायालय में पेश किया गया और सुधार गृह भेजा गया।
👨🏫 प्रिंसिपल जगबीर सिंह पानू: एक आदर्श शिक्षक की कहानी
जगबीर सिंह पानू एक ईमानदार, शिक्षाविद और समाजसेवी शिक्षक थे। दो साल पहले उन्होंने करतार मेमोरियल स्कूल को लीज पर लिया और स्कूल के विकास में दिन-रात एक कर दिए।
उनके दो बेटे – एक MBBS और दूसरा लॉ की पढ़ाई कर रहे हैं। वह हमेशा छात्रों को नैतिकता, अनुशासन और लक्ष्य का महत्व बताते थे।
😢 गांव का शोक और समाज की शर्म
गांव पुट्ठी और बास बादशाहपुर के लोगों के लिए यह हादसा केवल हत्या नहीं, बल्कि सामाजिक चेतना की हार थी।
चारों छात्र उसी गांव के थे – जिनके माता-पिता खुद प्रिंसिपल साहब से कहते थे:
“सर, हमारे बच्चों पर थोड़ा ध्यान देना…”
किसी ने नहीं सोचा था कि वही बच्चे एक दिन अपने गुरु की हत्या कर देंगे।
📲 सोशल मीडिया का दुरुपयोग और पेरेंटल निगरानी की कमी
इन छात्रों की मानसिकता को बिगाड़ने में सोशल मीडिया, मोबाइल की लत और पैरेंट्स की लापरवाही ने बड़ी भूमिका निभाई।
👉 क्या आपने कभी देखा है कि आपका बच्चा Instagram पर क्या पोस्ट करता है?
👉 किन Reels को देखता है? किसे फॉलो करता है?
आज के दौर में अभिभावकों को यह जानना जरूरी हो गया है कि कहीं उनका बच्चा किसी गलत संगत का हिस्सा तो नहीं?
🧠 समाज को सीख क्या मिलती है इस घटना से?
- शिक्षकों की सुरक्षा एक बड़ी चुनौती बन चुकी है।
- पैरेंट्स को निगरानी और संवाद दोनों बढ़ाना चाहिए।
- सोशल मीडिया पर बच्चों की गतिविधियों पर नियंत्रण जरूरी है।
- शिक्षा को केवल मार्क्स तक सीमित न रखें, नैतिकता भी पढ़ाएं।
📌 निष्कर्ष
स्कूल अब केवल शिक्षा का नहीं, सुरक्षा का भी केंद्र बन चुके हैं।
यह घटना हमें आईना दिखाती है कि अभिभावक, समाज और सरकार – सभी की जिम्मेदारी है।
🕯️ आइए, अपने शिक्षकों को वो सम्मान और सुरक्षा दें, जिसके वो हकदार हैं।







